Bihar news:-सरकारी शिक्षक विवेक कुमार बने लेक्चरर,बधाई का सिलसिला जारी

संवाददाता-राजेन्द्र कुमार
वैशाली/जंदाहा बीपीएससी द्बारा आयोजित व्याख्याता परीक्षा पास दसवां स्थान प्राप्त किया।जंदाहा बाजार निवासी एक सरकारी शिक्षक के साथ जो अपनी मेहनत के बलबूते व कर दिखाया है।जो पूरे वैशाली जिले के लिए गौरव और जंदाहा के लिए खुशी की बात है।नाज महनार प्रखंड को भी है।हम बात कर रहे ऊक सरकारी शिक्षक विवेक कुमार की जो बिहार के वैशाली जिले के जंदाहा बाजार के रहने वाले है।और जिले के ही महनार प्रखंड के राजकीय मध्य विद्दालय जावज मे प्रधानाध्यापक के पद पर कार्यरत होते हूए अपने विलक्षण प्रतिभा महाविद्यालय मे विभिन्न विषयो के व्याख्याता परीक्षा मे दसवां स्थान लाकर एक इतिहास रचा है।फाइनल परिणाम घोषित होते ही उनके घर एवं पूरे बाजार मे खुशी का माहौल है।
इस खबर को जानने के बाद बधाई देने का सिलसिला जारी है।इस संबंध मे बातचीत के दौरान विवेक कुमार ने बताया कि मेरी प्रारभिक शिक्षा दीक्षा गांव मे ही हूई है।मैट्रिक की परीक्षा जंदाहा के आर ए एस हाई स्कूल से प्रथम श्रेणी से पास किया।जबकि इंटर समता काँलेज जंदाहा से प्रथम श्रेणी से और आरडीएस काँलेज मुजफ्फरपुर से इतिहास विषय से स्नातक करने के बाद वर्ष2000मे बिपीएससी द्बारा आयोजित परीक्षा पास कर सहायक शिक्षक पद पर प्राथमिक विद्दालय थानपुर मे योगदान दिया।नौकरी मिलने के बाद भी विवेक कुमार ने उच्च शिक्षा प्राप्त करना जारी रखा।नालंदा खुला विश्वविद्यालय से इतिहास विषय मे एम ए करने के बाद इग्नू से बीएड और एम ऐड किया साथ ही उन्होंने इतिहास ओर शिक्षा विषय से नेट मे उर्त्तीण ता प्राप्त की।जंदाहा मे बीआरपी के पद पर रहते हूए उन्होंने शिक्षा और शिक्षको के लिए सराहनीय कार्य किया।वर्ष2021मे इन्हें शिक्षक दिवस के अवसर पर जिला कार्यक्रम पदाधिकारी वैशाली द्बारा विद्दालय प्रबंधन के लिए सर्वश्रेष्ठ प्रधानाध्यापक के रूप मे पुरस्कार किया गया।जंदाहा बाजार निवासी विवेक कुमार अपने पिता स्व, रामनाथ चौधरी और माता शोभा देवी के प़ाच संतानों मे चौथे संतान है।अन्य दो भाई और एक बहन भी शिक्षक पद पर कार्यरत है।इनकी पत्नी सुप्रिया भी उत्क्रमित मध्यमिक विद्दालय रोहुआ प्रखंड जंदाहा मे स्नातक शिक्षिका पद पर है।पिताजी 27जुलाई को देहांत हो गया है।माता शोभ देवी ने बताया कि विवेक शुरु से ही परिश्रमी रहा है।
इनके पिता हमेशा आगे बढने के लिए बच्चों को प्रेरित करते रहते थे।विवेक कुमार ने बताया कि मेहनत और सतत प्रयास ही उनकी सफलता का मूल मंत्र है।